“काक: चेष्टा, बको ध्यानं, श्वान निद्रा तथैव च। अल्पाहारी, गृहत्यागी, विद्यार्थी पंचलक्षणम् ॥”
इस श्लोक का भावार्थ है कि एक आदर्श विद्यार्थी में ये पांच लक्षण होने चाहिए:
कौए जैसी चेष्टा, यानी हर तरफ़ नज़र रखना और फ़ौरन निरीक्षण करने की क्षमता।
बगुले जैसा ध्यान, यानी एकाग्रता।
कुत्ते जैसी नींद, यानी कम सोना और सचेत होकर सोना।
अल्पहारी, यानी कम भोजन करने वाला।
गृहत्यागी, यानी अपने घर और माता-पिता का ज़्यादा मोह न रखने वाला।
The meaning of this verse is that an ideal student should have these five characteristics:
Crow-like behavior, i.e. keeping an eye on everything and the ability to observe quickly.
Attention like heron, i.e. concentration.
Sleeping like a dog, that is, sleeping less and sleeping alert.
Ophrodisiac, i.e. one who eats less.
Homeless, that is, one who does not have much attachment to his home and parents.